Bokaro: बोकारो स्टील प्लांट में विस्थापितों का आंदोलन कोई नई बात नहीं है. लेकिन गुरुवार को जो हुआ वह काफी चौंकाने वाला था. आए दिन नियोजन को लेकर बोकारो स्टील प्लांट के विस्थापित प्लांट के प्रशासनिक भवन के सामने आंदोलन करते रहते हैं. गुरुवार की शाम भी यही मंजर था. इसी बीच विस्थापित बैरिकेड तोड़कर प्रशासनिक भवन में घुसने की कोशिश कर रहे थे. प्रशासनिक भवन के सामने बोकारो स्टील प्लांट की सुरक्षा में तैनात सीआईएसएफ जवान खड़े थे. विस्थापितों का उग्र आंदोलन देख सीआईएसफ एक्टिव मोड में थे. अभी लाठीचार्ज शुरू नहीं हुआ था. लेकिन दो ही मिनट में एक ऐसा नजारा देखने को मिला, जिससे आज बोकारो शहर जल रहा है. लोग सड़क पर हैं. राजनीति उबाल मरे हुए हैं.

देखें वीडियो कैसे हुई विस्थापित प्रेम की मौत

सीआईएसएफ के जवान ने फेंकी बांस की बल्ली जिससे हुई प्रेम की मौत

शाम के करीब 6 बज रहे थे. विस्थापितों का आंदोलन उग्र होता जा रहा था. सीआईएसएफ के जवान हाथ में लाठी लिए अपने ऑफिसर्स के आर्डर का इंतजार कर रहे थे. सीआईएसएफ के अधिकारियों ने अभी लाठी चार्ज का आर्डर नहीं दिया था. विस्थापित प्रशासनिक भवन में घुसने की कोशिश कर रहे थे. इसी बीच एक सीआईएसफ का जवान आगे आया और करीब 15 फीट की दूरी से एक मोटी बांस की बल्ली उसने आंदोलन करने वालों की तरफ फेंकी. बांस की बल्ली सीधा जाकर प्रेम महतो के सिर पर लगी. देखते ही देखते वह लहूलुहान हो गया.

औंधे मुंह वो जमीन पर गिरा. आंदोलनकारी साथी जब-तक उसे उठाकर अस्पताल ले जाते, तब-तक उसकी मौत हो चुकी थी. बांस की बल्ली सीधा सर पर लगने की वजह से प्रेम महतो का ब्रेन हेमरेज कर गया. जो उसके मौत का कारण बना. अब सवाल उठता है कि बीएसएल जो कह रहा है, या मीडिया में जो बातें चल रही हैं, क्या वह सही है? क्या वाकई लाठीचार्ज के दौरान प्रेम महतो की जान गई? वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि प्रेम महतो की मौत सीआईएसएफ के जवान की तरफ से फेंकी गई बांस की बल्ली से चोट लगने की वजह से हुई है. अब बातें हो रही है कि क्या आंदोलनकारियों पर इस तरह से हमला करना जायज था. हालांकि yesjharkhand.com इस वीडियो की पुष्टि नहीं करता है. यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है. किसी साथी के फेसबुक अकाउंट से यह वीडियो डाउनलोड की गयी है.

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